मुज़फ्फरनगर में 12 हज़ार राशन कार्ड हुए सरेंडर, अपात्र नहीं करेंगे सरेंडर तो होगी फ्री मिले राशन की बाज़ार दर से वसूली

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- मुज़फ्फरनगर में 12 हज़ार राशन कार्ड हुए सरेंडर, अपात्र नहीं करेंगे सरेंडर तो होगी फ्री मिले राशन की बाज़ार दर से वसूली
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मुजफ्फरनगर। मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ के आदेश पर प्रदेश भर में जिला प्रशासन को दिए गए सख्त आदेश पर पिछले कई वर्षों से फर्जी तरीके से राशन कार्ड बनवा कर गरीबों का निवाला खाने वाले अपात्र कार्ड धारकों पर वसूली की बड़ी कार्रवाई होने जा रही है। सीएम के आदेश के बाद लगातार अपात्र लोग अपने राशन कार्ड सरेंडर करते दिख रहे हैं।
जिला पूर्ति अधिकारी कमलेश सिंह के मुताबिक अब तक 12 से 13 हज़ार अपात्र कार्ड धारकों ने राशन कार्ड सरेंडर करने के साथ-साथ राशन लेना भी बंद कर दिया है।उन्होंने बताया कि खाद्य सुरक्षा अधिनियम 2013 के तहत प्रधानमंत्री और उत्तर प्रदेश सरकार द्वारा अंत्योदय और गृहस्थी कार्ड धारको निशुल्क राशन वितरण कर लाभ वितरित किया जा रहा था। कोरोना काल में भी केंद्र और उत्तर प्रदेश सरकार द्वारा सभी कार्ड धारको को सरकारी योजनाओं से लाभान्वित कर भरपेट राशन दिया जा रहा था, लेकिन कुछ अपात्र कार्ड धारको ने फर्जी तरीके से राशन कार्ड बनवा कर सरकारी योजनाओं को चूना लगाने का काम कर गरीबों का निवाला छीनने का काम किया। सूबे के मुखिया योगी आदित्यनाथ द्वारा इस मामले का संज्ञान लेते हुए समस्त जिला प्रशासन और खाद्य अधिकारी को निर्देशित किया गया है कि वह ऐसे लोगों को चिन्हित करें, जो अपात्र है। साथ ही इन लोगों से वसूली की कार्रवाई भी की जाए।
जिला पूर्ति अधिकारी कमलेश सिंह ने जानकारी देते हुए बताया कि अब तक करीब 12 से 13 हजार राशन कार्ड सरेंडर किए जा चुके हैं। जिलाधिकारी के स्तर से प्रेस विज्ञप्ति भी जारी की गई है। जिसमें स्पष्ट रूप से निर्देश दिए गए हैं कि ग्रामीण क्षेत्र के व्यक्ति की दो लाख या उससे अधिक और शहरी क्षेत्र के व्यक्ति की तीन लाख या उससे अधिक सालाना आय, एसी, फोर व्हीलर कार, ट्रैक्टर, एक से अधिक लाइसेंसी शस्त्र, 100 वर्ग स्क्वायर फीट से अधिक प्लॉट, 5 केवी या उससे अधिक का जनरेटर है तो वह व्यक्ति अपात्र की श्रेणी में आते है। सभी इन सभी को निर्देश दिए जा चुके हैं कि यह लोग अपने कार्ड सरेंडर कर दें, अन्यथा जांच होने पर ₹24 प्रति किलो गेहूं और ₹25 प्रति किलो चावल के हिसाब से जबसे कार्ड जारी हुआ है तब से लेकर अब तक वसूले जाएंगे। 12-13 हजार में से करीब 700 कार्ड अंत्योदय के है। सभी इंस्पेक्टरों को भी निर्देश दिए गए हैं कि वह ग्रामीण क्षेत्र में मुनादी कराएं और शहरी क्षेत्र में ई-रिक्शा में लाउडस्पीकर के माध्यम से प्रचार-प्रसार कराया जाए।
राज्यमंत्री कपिल देव अग्रवाल ने बताया कि ऐसे अपात्र लोगों के खिलाफ सख्त कार्यवाही की जाएगी।
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